Sikara Movie Review Poster

Shikara Movie Review: त्रासदी की पृष्ठभूमि में एक प्रेम कहानी

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आज से करीब 30 साल पहले, 19 जनवरी 1990 को हजारों कश्मीरी पंडितों को आतंक का शिकार होकर अपना घर छोड़ना पड़ा था। उन्हें उम्मीद थी कि वे जल्दी ही अपने घरों में दुबारा से उसी तरह रह पाएंगे, जैसे दशकों से रहते आए थे। उन्हें उम्मीद थी कि उनके लिए संसद में शोर मचेगा, लेकिन उनके पक्ष में कहीं से कोई आवाज नहीं उठी। तब से लेकर अब तक 30 साल बीत गए, आज भी वे अपने ही देश में शरणार्थी बने हुए हैं। कई कश्मीरी पंडित अपने घर में फिर से रहने की आस अपने सीने में दबाए दुनिया से विदा भी हो गए।
Shikara MOvie Poster

निर्माता-निर्देशक विधु विनोद चोपड़ा की फिल्म ‘शिकारा’ इसी कथ्य के आसपास रख कर बुनी गई फिल्म है। हालांकि उन्होंने घाटी में आतंक की खेती और उसके परिणामस्वरूप कश्मीरी पंडितों पर हुए वीभत्स अत्याचारों को फिल्म में बस संदर्भ के रूप में रखा है और इसे एक कश्मीरी पंडित जोड़े की प्रेम कहानी के रूप में ज्यादा प्रस्तुत किया है। कहानी शुरू होती है 1987 में, जब कश्मीर घाटी कश्मीरी पंडितों की भी उतनी ही थी, जितनी कश्मीरी मुसलमानों की। जब दोनों समुदाय पूरे सौहाद्र्र के साथ मिल-जुल कर रहते थे। फिल्म खत्म होती है 2018 में, जब हजारों कश्मीरी पंडित अभी भी शरणार्थी का जीवन जीने को अभिशप्त हैं।

कश्मीर में एक फिल्म की शूटिंग हो रही है। निर्देशक को एक्स्ट्रा कलाकारों के रूप में एक कश्मीरी जोड़ा चाहिए। उसके असिस्टेंट शिव प्रकाश धर (आदिल खान) और शांति सप्रू (सादिया) को चुनते हैं। शिव कविताएं लिखता है, शांति नर्स है। इस घटना के बाद दोनों में प्यार हो जाता है और वे शादी कर लेते हैं। वह अपनी पहली रात डल झील में एक शिकारा में बिताते हैं, इसीलिए शांति अपने नए घर का नाम शिकारा रखती है। वह शिव के लिए रोगन जोश बनाती है और शिव उसके लिए कविताएं लिखता है- ‘तेरे होने से घर भरा-भरा सा लगे।’ लेकिन उनका ये सुख ज्यादा दिन नहीं टिकता। एक-दो सालों में परिस्थितियां ऐसी बदलती हैं कि कश्मीरी पंडितों के घर जलने शुरू हो जाते हैं, उनकी हत्याएं होने लगती हैं और उन्हें कश्मीर छोड़ कर भागना पड़ता है और जम्मू में एक शरणार्थी कैम्प में अपना जीवन गुजारना पड़ता है…

यह फिल्म मुख्य रूप से शिव और शांति की प्रेम कहानी है। निर्देशक विधु विनोद चोपड़ा ने घाटी में आतंकवाद और कश्मीरी पंडितों की त्रासदी को सिर्फ संदर्भ के रूप में प्रयोग किया है। उसकी थोड़ी-सी झलक दिखलाई है। वह भी फिल्म के पूर्वाद्र्ध में ही। मध्यांतर के बाद फिल्म पूरी तरह शिव और शांति की प्रेम कहानी पर फोकस करती है। विधु अपनी बात प्रतीकों में ज्यादा कहते हैं। लेखक राहुल पंडिता, अभिजात जोशी और विधु घाटी में आतंकवाद के कारणों की ज्यादा चर्चा नहीं करते। ज्यादा सवाल नहीं उठाते, बस प्रेम पर ध्यान केंद्रित करते हैं। इसीलिए फिल्म में कश्मीरी पंडितों के घर जलने के जो दृश्य है, उसमें निर्देशक उपद्रवियों के चेहरे दिखाने की बजाय उनकी परछाइयों को दिखलाते हैं। वे बस यह समझाने की कोशिश करते हैं कि सरकारी दमन और अमेरिका कश्मीर में आतंकवाद के पीछे मुख्य वजह हैं। इसीलिए फिल्म का नायक अमेरिका के राष्ट्रपति को चिट्ठियां लिखता है, भारत के हुक्मरानों को नहीं।

लेकिन इस फिल्म की प्रेम कहानी बहुत सशक्त है। वह अंदर तक भिगोती है। प्रेम की शक्ति में भरोसा पैदा करती है। शिव और शांति का प्रेम जिंदगी के सबसे कठिन लम्हों में भी कम नहीं होता। वह प्रेम ही है, जो उनके जीवन को कड़वा होने से बचाता है और अपने पीड़कों के प्रति भी कड़वा होने से बचाता है। रंगराजन रामभद्रन की सिनेमेटोग्राफी शानदार है। वह अपने कैमरे से कश्मीर की नैसर्गिक खूबसूरती, वहां के जनजीवन और फिल्म के मूड को बेहतरीन तरीके से पेश करते हैं। विधु की एडिटिंग भी अच्छी है। फिल्म का गीत-संगीत सामान्य है।

शिव के रूप में आदिल खान का अभिनय बहुत अच्छा है। पहली ही फिल्म में उन्होंने शानदार काम किया है। एक निर्वासित कश्मीरी पंडित की पीड़ा को उन्होंने प्रभावी तरीके से अपने अभिनय से उभारा है। शांति के रूप सादिया भी प्रभावित करती हैं। उनकी भी यह पहली फिल्म है और पहली फिल्म में ही वह प्रभावित करने में सफल रही हैं। शिव के ममेरे भाई नवीन के रूप में प्रियांशु चटर्जी की भूमिका छोटी है, लेकिन वह याद रह जाते हैं। लतीफ की भूमिका जिस कलाकार ने निभाई है, उसका अभिनय भी अच्छा है। बाकी छोटी-छोटी भूमिकाएं निभाने वाले कलाकारों ने भी अपना काम ठीक किया है।

अगर इस फिल्म को आप एक प्रेम कहानी के रूप में देखेंगे, तो आपको प्रभावित करेगी, भावुक करेगी, आपमें करुणा भरेगी। लेकिन आप इसे कश्मीरी पंडितों के निष्कासन, उनकी त्रासदी से जोड़ कर देखेंगे, तो आप शययद निराश हो सकते हैं, क्योंकि इसमें उनकी पीड़ा को मुखर अभिव्यक्ति नहीं मिलती है। सिनेमाई मापदंडों के आधार पर यह एक श्रेष्ठ फिल्म है और असर छोड़ती है।

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RBI ने आम लोगों को दिया झटका, लगातार दूसरी बार नहीं कम होगी आपकी EMI

उम्‍मीद के मुताबिक रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया ने रेपो रेट में कटौती नहीं की है. यह लगातार दूसरी मौद्रिक समीक्षा बैठक है जब आरबीआई ने रेपो रेट को स्थिर रखा है. ऐसे में अब लोन की ब्‍याज दर और आपकी ईएमआई कम होने की गुंजाइश कम ही है. इससे पहले, दिसंबर में भी केंद्रीय बैंक ने रेपो रेट में कोई बदलाव नहीं किया था. वहीं 2019 के शुरुआती पांच मौद्रिक समीक्षा बैठक में लगातार 5 बार रेपो रेट में कटौती की गई थी.

  • वर्तमान में रेपो रेट 5.15 फीसदी पर स्थिर है
  • लगातार दूसरी बार RBI ने नहीं की कटौती

बता दें कि वर्तमान में रेपो रेट 5.15 फीसदी पर स्थिर है. इसके अलावा रिवर्स रेपो रेट भी 4.90 फीसदी पर बरकरार है. रिजर्व बैंक ने कैश रिजर्व रेशयो यानी सीआरआर 4 फीसदी और SLR 18.5 फीसदी पर बनाए रखा है.वहीं आरबीआई बैंक का अनुमान है कि वित्त वर्ष 2020-21 में जीडीपी ग्रोथ 6 फीसदी रहेगी.

RBI Governer

 

क्‍या होता है रेपो रेट?

रेपो रेट वो दर होती है जिस पर बैंकों को आरबीआई फंड देता है और इसी फंड के आधार पर बैंक ग्राहकों को ब्‍याज दर में राहत देते हैं. हालांकि आरबीआई के रेपो रेट कटौती का बैंकों ने उम्‍मीद के मुताबिक फायदा नहीं पहुंचाया है. यही वजह है कि आरबीआई ने भी बैंकों से रेपो रेट कटौती का फायदा ग्राहकों को पहुंचाने की बात कही है.

क्‍यों नहीं हुई कटौती?
दरअसल, महंगाई के आंकड़े और बजट में  राजकोषीय घाटे के लक्ष्य के संशोधन की वजह से आरबीआई दबाव में था. बता दें कि सरकार ने चालू वित्त वर्ष के लिए राजकोषीय घाटे के लक्ष्य को बढ़ाकर सकल घरेलू उत्पाद (जीडीपी) का 3.8 फीसदी कर दिया है. इससे पहले राजकोषीय घाटे का लक्ष्य 3.3 प्रतिशत रखा गया था. वहीं दिसंबर में खुदरा मुद्रास्फीति 7.3 फीसदी के उच्च स्तर पर रही. इसका कारण सब्जी खासकर प्याज और टमाटर का महंगा होना है. यह आरबीआई की उम्‍मीद से ज्‍यादा है.

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faridabad corona virus

Health advisoryreleased in Haryana for prevention and safeguard against Corona Virus

In view of the spreading threat of Corona virus, all the districts of Haryana have been sent an advisory by the health department. The advisory, made by way of video conferencing by Prabhjot Singh, mission director of National Health Mission and head of health department haryana, underlined clear instructions to deal with the suspicious cases of corona virus. The advisory made it clear that any passenger arriving from china needs to be put under observation and his blood samples to be sent to Pune laboratory.

Prabhjot Singh said that there is no need to panic on the virus alert but in order to prevent the spread, safeguard is must. He informed that as far as the spread of virus in Haryana is concerned, it is totally under control till now. He said that a vigil has to be kept on any person coming from china. In case of any symptom being found in the person, civil surgeon or the directorate of health services has to be informed immediately. Also, the samples of the affected person need to be sent to Pune laboratory immediately. He said that the person, suspicious of being affected by the corona virus must be advised to keep away from mixing with public. It is advised that the affected person should neither shake hands with others, nor should travel. Singh said that as a preventive measure everyone should wash hands using warm water and soap.

health advisory haryana discussion on Corona Virus

Prabhjot Singh instructed the health department to maintain isolation wards in different hospitals and keep the affected person, if any, for 28 days in this isolation ward only. The patient of corona virus should be provided with mask kit. He informed that 19 airports of the country have been put on alert to identify any case suspicious of being affected with corona virus. A helpline number 01123978046 for information on corona virus alone is set up.

Educating the participants in the video conference, it was informed that the initial symptoms of corona virus are pain in throat, sneezing, cold, cough coupled with fever. In addition to the above continuous headache, running nose, severe cough, pain in chest and respiratory problems are also the symptoms of corona virus.

Also present in the video conferencing were CMO Doctor Savita and Deputy CMO Faridabad Ram Bhagat along with other officials.

By: Sanjay Chaturvedi
 9811074823
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Nirmila Sitaraman With Anurag Thakur

निर्मला सीतारमण द्वारा दिया गया वित्तीय बजट हर वर्ग के हित के लिये :कैप्टन अभिमन्यु

हरियाणा के पूर्व वित्त मंत्री कैप्टन अभिमन्यु ने वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण द्वारा पेश किये गए केंद्रीय बजट को समाज के हर वर्ग को को लाभ पहुँचाने वाला कल्याणकारी आम बजट बताया है. उन्होंने कहा कि इस शानदार बजट के लिए देश के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी और वित्त मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण बधाई के पात्र हैं.  उन्होंने कहा की हरियाणा के नारनौंद में स्थित राखीगढ़ी को प्रतिष्ठित दर्जा और अनुदान देने के लिए प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी एवं वित्तमंत्री श्रीमति निर्मला सीतारमण जी को वे ह्रदय की गहराइयों से धन्यवाद करते हैं. राखीगढ़ी की दुनिया के नक्शे पर अपनी अलग पहचान होना उनके लिए एक सपने के साकार होने जैसा है.
कैप्टन अभिमन्यु ने कहा कि केंद्रीय वित्त मंत्री द्वारा पेश किया गया बजट देश के विकास में मील का पत्थर साबित होगा. बजट में जनता के लिए टैक्स की दरों में कमी किया जाना एक ऐतिहासिक फैसला है जिससे करोड़ों लोगों को सीधा लाभ होगा. उन्होंने कहा कि अब पांच लाख रुपये तक की आय पर कोई कर नहीं देना होगा।  5 से 7.5 लाख रुपये तक की आय पर10 प्रतिशत, 7.5 लाख रुपये से 10 लाख रुपये तक की आय पर 15 प्रतिशत, 10 से 12.5 लाख रुपये तक की आय पर 20 प्रतिशत और 12.5 लाख रुपये से 15 लाख रुपये तक की कमाई 25 फीसद टैक्स देना होगा. टैक्स की ये दरें पहले से ५ से १० प्रतिशत तक कम हैं. उन्होंने कहा कि केंद्रीय बजट पूरे देश के किसानों को लाभ मिलेगा। आज का बजट किसान और कृषि को लाभान्वित करने वाला बजट है. इस बजट में जहाँ किसानों के लिए कई नई योजनाएं घोषित की गई हैं वहीँ  2022 तक किसानों की आय को दोगुनी करने का लक्ष्य तय किया गया है.
Abhimanyu
कैप्टन अभिमन्यु ने कहा कि बजट में ग्राम पंचायतों को हाई स्पीड ब्रॉडबैंड से जोड़ने वाले ‘भारतनेट’ कार्यक्रम के लिए 6,000 करोड़ रुपये आवंटित किये गए हैं. इस योजना के तहत एक लाख ग्राम पंचायतों को जोड़ा जाएगा. 112 जिलों में जहां आयुष्मान भारत योजना से जुड़े अस्पताल नहीं हैं, वहां सार्वजनिक निजी भागीदारी के तहत अस्पताल बनाने को प्राथमिकता दी जायेगी.  बजट में लघु और मझोले उद्योगों (एमएसएमई) को आसान ऋण उपलब्ध कराने के लिये गैर-बैंकिग वित्तीय कंपनी कानून में जरूरी संशोधन करने और रिजर्व बैंक से एमएसएमई ऋण पुनर्गठन समय सीमा बढ़ाने का आग्रह किया गया है जिससे छोटे उद्योगों को लाभ मिलेगा. उन्होंने कहा कि यह बजट आने वाले वर्षों में भारत को स्वस्थ एवं समृद्ध बनाएगा.
By: Sanjay Chaturvedi
9811074823

 

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SurajKund Mela 2020

Hon’ble President of India inaugurates the 34th Surajkund International Crafts Mela

 Faridabad, February 1, 2020 : Hon’ble President of India Shri Ram Nath Kovind today formally inaugurated the 34th Surajkund International Crafts Mela 2020 and Shri Satyadeo Narain Arya, Hon’ble Governor of Haryana presided over the inaugural ceremony at Surajkund, Faridabad in the august presence of Shri Manohar Lal, Hon’ble Chief Minister, Haryana, Shri Jai Ram Thakur, Hon’ble Chief Minister, Himachal Pradesh, Shri. Kanwar Pal, Hon’ble Tourism Minister, Haryana and His Excellency Mr. Farhod Arziev, Ambassador Extraordinary and Plenipotentiary of the Republic of Uzbekistan Embassy. 
The galaxy of esteemed invitees at the inauguration ceremony included Shri Randhir Gollen, Chairman, Haryana Tourism Corporation, Smt. Seema Trikha, M.L.A, Badkhal, Shri. Krishan Pal Gurjar, Minister of State for Social justice and Empowerment, Government of India and Shri. Mool Chand Sharma, Transport Minister, Haryana along with many other dignitaries who graced the occasion.    
After entering from Dhanteshwari Gate, a traditional welcome was extended to the Hon’ble President of India, Haryana by Surajkund Mela Authority & Haryana Tourism.  Shri Ram Nath Kovind took a round of the Theme State Himachal Pradesh’s pavilion and the ‘Apna Ghar’. He also visited crafts huts and interacted with the craftspersons and weavers. Also, the delegation from Uzbekistan, the Partner Nation of the Mela received Shri Ram Nath Kovind and he met the foreign participants and Apna Ghar of Haryana. Following which, he headed towards the Chaupal and did the honours of lighting the lamp, after which he announced the Mela open.
Shri Vijai Vardhan, Additional Chief Secretary, Tourism, Haryana & Vice Chairman, Surajkund Mela Authority extended a hearty welcome to Hon’ble President of India and expressed gratitude towards all the present dignitaries for being a part of the Mela. He further stated that it is a matter of pride that the 34h edition of the mela is being inaugurated by the Hon’ble President of India. He expressed his gratitude to Shri Manohar Lal, Hon’ble Chief Minister, Haryana and for his able leadership for helping Surajkund mela attain the status it has today. He further stated that Uzbekistan and India share ties since ancient times and this mela will bring alive the age-old bond.
 
Mr. Farhod Arziev, Ambassador Extraordinary and Plenipotentiary of the Republic of Uzbekistan Embassy thanked government of Haryana and Haryana Tourism for giving them the opportunity to be a part of this grand celebration. He also stated that over 100 craftspersons and many cultural troupes have come to participate in the mela and will bring the true colours of Uzbekistan to the people of India. 
 
Shri Jai Ram Thakur, Hon’ble Chief Minister, Himachal Pradesh stated that Surajkund Mela is a great manifestation of how this platform provides opportunities to craftspersons in a friendly environment and a beautiful ambience. He also invited all the people to come visit the enchanting state of Himachal Pradesh. 
 
Shri Manohar Lal, Hon’ble Chief Minister, Haryana addressed the gathering and pointed out that the Mela gives a glimpse of India’s civilization and culture. He welcomed all the artisans and stated that the artisans and craftspersons are the soul of this mela. Both Himachal Pradesh and Uzbekistan have spread the colours of their culture with their handicrafts and art. 
SurajKund Mela 2020
 
He further mentioned that state of Haryana is making strides in further developing the tourism of the state in places like Kurukshetra, Aravalli Hills, Farm Tourism and also the state will be publishing an Atlas that will encompass all the aspects of the state of Haryana.  
 
The Hon’ble President of India, Shri Ram Nath Kovind appreciated and applauded the efforts to preserve the languishing crafts of our country through this grand mela.  Surajkund Mela is an opportunity for all artisans to take full advantage and showcase our hidden glory and that the mela is a confluence of art, Music and Culture from across the world. 
 
The object of this Mela is to promote handicrafts, arts and the culture of the country and that this Mela has promoted rural crafts.  Because of this Mela, new generation gets to know about country’s heritage. 
 
He further stated that the idea of having a theme state lends uniqueness to the mela and festivals bring visitors from across India as well as abroad. He highly praised the facilities provide in the mela premise, including security, cleanliness, digital payments and online booking facilities for the visitors. 
 
He expressed happiness about the fact that Uzbekistan as Partner Nation has got its contingent of artisans, master chefs and artistes and there is an overwhelming participation of craftspersons from Central Asia, SAARC nations and many other countries. He  also commended the efforts of Surajkund Crafts Mela Authority and Haryana Tourism for organising an event of this level.
The inauguration ceremony of the Mela also saw enthralling performances by Himachali troupe who performed the Himachali Nati called Mala Nritya and the artists from Uzbekistan enthralled the audience with the traditional Lazgi Dance. 
By: Sanjay Chaturvedi
9811074823

 

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Google Map Hacked

Google Maps को किया हैक, खाली रास्ते पर लगाया ट्रैफिक जैम

गूगल (Google) के साथ तगड़ा प्रैंक (मजाक) हुआ है। बर्लिन के एक आर्टिस्ट सिमॉन वेकर्ट ने गूगल मैप्स (Google Maps) को 99 सेकंड-हैंड स्मार्टफोन्स की मदद से हैक कर लिया। मजाक के तौर पर की गई इस हैकिंग के बाद गूगल मैप्स बिल्कुल क्लियर रूट को भी हेवी ट्रैफिक वाला बता रहा था। यूजर्स को ट्रैफिक की सही जानकारी देने के लिए गूगल स्लो मूविंग या हेवी ट्रैफिक का डेटा लेता है। इसके लिए वह किसी खास एरिया में ट्रैवल कर रहे उन यूजर्स के मोबाइल को ऐक्सेस करता है जो गूगल मैप्स का इस्तेमाल कर रहे होते हैं। सिमॉन ने ट्रैफिक जैम बताने वाले गूगल के इसी प्रोसेस के साथ खेल किया है।

  • बर्लिन के आर्टिस्ट ने जबरदस्त प्रैंक में गूगल मैप्स को हैक कर वर्चुअल ट्रैफिक जैम क्रिएट कर दिया। प्रैंक के लिए 99 सेकंड-हैंड स्मार्टफोन का इस्तेमाल हुआ। इस हैकिंग में गूगल मैप्स खाली रास्ते को भी हेवी ट्रैफिक वाला बता रहा था।

ऐसे किया गूगल मैप्स को हैक
सिमॉन ने एक छोटी हैंड ट्रॉली में 99 स्मार्टफोन्स को रख दिया। इन सभी स्मार्टफोन्स में गूगल मैप्स ऑन था। सिमॉन ट्रॉली में इन स्मार्टफोन्स को इकट्ठा रखकर एक खाली सड़क पर टहलने निकल गए। गूगल, सिमॉन के इस प्रैंक को समझ नहीं पाया और उस खाली रोड को हेवी ट्रैफिक वाला बताने लगा। हालांकि, इस प्रैंक से किसी को नुकसान नहीं हुआ, लेकिन मैप्स यूज करते हुए उस रास्ते से गूजरने वाले ड्राइवर्स को गूगल ने री-रूट जरूर कर दिया।

ट्रैफिक कंडिशन बताने के लिए तीन कलर
दुनिया भर में गूगल की यह नैविगेशन सर्विस काफी पॉप्युलर है। ट्रैफिक और रास्ते की सही जानकारी देते हुए यह यूजर्स को उनकी मंजिल तक पहुंचाती है। गूगल मैप्स में ट्रैफिक कंडिशन को बताने के लिए भारत में रेड, ब्लू और येलो कलर का यूज होता है। रेड मतलब तगड़ा जैम, ठीक-ठाक मूवमेंट के लिए येलो और बिल्कुल क्लियर रोड के लिए ब्लू इंडिकेशन मिलता है। अक्सर रोड ब्लॉक के चलते मैप्स में गूगल नैविगेशन को री-रूट कर देता है ताकि यूजर्स बेस्ट रूट से अपनी मंजिल पर पहुंच सकें।

गूगल मैप्स में सुधार की जरूरत
आजकल यूजर रास्ता मालूम होने के बाद भी गूगल मैप्स का इस्तेमाल करते हैं ताकि उन्हें ट्रैफिक की रियल-टाइम इन्फर्मेशन मिल सके। हालांकि, इस हैकिंग के बाद गूगल मैप्स पर पूरी तरह भरोसा करने में कुछ यूजर्स को थोड़ी हिचकिचाहट जरूर होने वाली है। वहीं, सिमॉन के इस प्रैंक के बाद गूगल को जरूर मैप्स सर्विस में सुधार करने की जरूरत का अहसास हुआ होगा। यह एक प्रैंक था, लेकिन सिमॉन के इस प्रैंक ने गूगल को एक तरह से अलर्ट भी कर दिया है कि मैप्स की इस खामी का गलत इस्तेमाल भी हो सकता है।

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Pakistan Hourse Rider

आजाद कश्मीर नाम के घोड़े से फंस सकता है पाकिस्तान, छिन सकता है ओलंपिक कोटा

पाकिस्तान ने एक नई मुसीबत मोल ले ली है। पाकिस्तान और उसके एथलीट हमेशा से भारत की भावनाओं के साथ अपनी गलत हरकतें करने से बाज नहीं आते। इस बार एक पाकिस्तानी घुड़सवार ने जानबूझकर अपने घोड़े का नाम बदलकर आजाद कश्मीर रख दिया। हालांकि, इससे पाकिस्तान को काफी नुकसान हो सकता है, बावजूद इसके पाकिस्तान संभलने का नाम नहीं ले रहा।

दरअसल, पाकिस्तानी घुड़सवार उस्मान खान ने आजाद कश्मीर नाम के घोड़े से एक प्रतियोगिता जीत ली और टोक्यो ओलंपिक का कोटा भी हासिल कर लिया, लेकिन अब वह मुश्किल में फंस सकता है। ऐसा इसलिए है क्योंकि उसकी इस हरकत से भारतीय ओलंपिक संघ (आइओए) नाराज है और वह इसके खिलाफ अंतरराष्ट्रीय ओलंपिक समिति (आइओसी) में अपनी शिकायत दर्ज करा सकता है।

  • पाकिस्तान और उसके एथलीट हमेशा से भारत की भावनाओं के साथ अपनी गलत हरकतें करने से बाज नहीं आते।

पाकिस्तान से छिन सकता है ओलंपिक कोटा

इतना ही नहीं, आइओसी के नियम 50 के तहत भी उसका ओलंपिक कोटा छिन जाएगा। उस्मान इस स्पर्धा में टोक्यो के लिए क्वालीफाई करने वाले एकमात्र पाकिस्तानी घुड़सवार हैं। 12 साल का यह घोड़ा पहले ऑस्ट्रेलिया की बेलिंडा बेलिस्टर के पास था जो वेस्टर्न ऑस्ट्रेलिया में रहती थीं। लेकिन, 15 साल से ऑस्ट्रेलिया में रह रहे उस्मान ने यह घोड़ा पिछले साल उनसे खरीदा और जानबूझकर इसका नाम बदलकर आजाद कश्मीर रख दिया।

 

आइओए के एक सूत्र ने कहा कि पाकिस्तान और उसके खिलाड़ी हमेशा से ऐसे कारनामों में आगे रहे हैं और हर बार वे भारत की भावनाओं को ठेस पहुंचाते हैं। उस्मान ने भी यही किया और हम इसके खिलाफ आइओसी में अपनी शिकायत दर्ज करा सकते हैं। उसने भारत की भावनाओं को ठेस पहुंचाई है। आइओसी के नियम 50 के अनुसार, किसी ऐसी चीज से किसी राष्ट्र की भावनाओं को ठेस पहुंचती है और वह इसके खिलाफ कोई शिकायत दर्ज कराता है तो उस देश का ओलंपिक कोटा रद किया जा सकता है।

 

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देह व्यापार पर कोरोना वायरस की मार, पहचान छिपा रहीं चीनी लड़कियां

चीन में कोरोना वायरस ने बड़ी संख्या में लोगों की जान ले ली है और हजारों लोग इससे पीड़ित हैं. बुधवार सुबह तक के आंकड़े के मुताबिक, चीन में 490 लोगों की जान जा चुकी है. दुनिया के कई अन्य देशों में भी वायरस से संक्रमित लोग सामने आए हैं. कई देशों ने चीन ने आने वाले लोगों की जांच शुरू कर दी है. वहीं, कोरोना वायरस का बुरा असर देह व्यापार में शामिल चीनी लड़कियों पर भी पड़ रहा है.

डेली मेल की रिपोर्ट के मुताबिक, विदेशों में देह व्यापार करने वालीं चीनी लड़कियां अपनी नेशनलिटी छुपा रही हैं या फिर खुद को किसी और देश का बताने लगी हैं. लड़कियों का कहना है कि कोरोना वायरस की वजह से उनके साथ भेदभाव हो रहा है.

मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, कुछ ऑनलाइन पोर्टल पर भी चीनी लड़कियों ने खुद के प्रोफाइल में चीन शब्द छिपा दिया है. एक सेक्स वर्कर ने बताया कि उन्होंने खुद का रेट आधा कर दिया है और नेशनलिटी हाइड कर दी है.

चीनी सेक्स वर्कर का कहना है कि जब से कोरोना वायरस सामने आया है तब से उनकी आय में काफी कमी हो गई है. एक अन्य लड़की ने बताया कि उनका बिजनेस इतना खराब पहले कभी नहीं हुआ.

 

कई सेक्स वर्कर सालों से अपने देश चीन नहीं गई हैं, बावजूद इसके लोग डर रहे हैं कि इन लड़कियों के संपर्क में आने से शायद वे भी कोरोना वायरस से संक्रमित हो सकते हैं.

बता दें कि कोरोना वायरस से बचाव के लिए अब तक कोई वैक्सीन की खोज नहीं की जा सकी है. कोरोना वायरस के लक्षण पाए जाने पर लोगों को आइसोलेट रहने और तुरंत डॉक्टर से मिलने की सलाह दी जाती है.

Sex worker china

समझा जा रहा है कि कोरोना वायरस की शुरुआत चीन के वुहान शहर से हुई. शहर में मरीजों के इलाज के लिए चीन ने वुहान में 10 दिनों में एक हजार बेड का हॉस्पिटल बनाया है. शहर में आने जाने पर भी कई तरह के प्रतिबंध लगा दिए गए हैं.

 

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Share Market Bull

दो दिन में शेयर बाजार के निवेशकों की पूंजी 3.57 लाख करोड़ रुपये बढ़ी

बीते 1 फरवरी को बजट के दिन शेयर बाजार में भारी गिरावट से निवेशकों को जो झटका लगा था, उसकी क्षतिपूर्ति महज दो दिनों में ही हो गई। बंबई शेयर बाजार का सेंसेक्स मंगलवार को 917 अंक की जोरदार छलांग के साथ 40,700 अंक से ऊपर पहुंच गया, जिसके साथ ही पिछले दो दिनों में सूचीबद्ध कंपनियों के निवेशकों की पूंजी 3.57 लाख करोड़ रुपये बढ़ी है। इससे पहले सोमवार को सेंसेक्स 136.78 अंक चढ़ा था।

शेयर बाजार में तेजी से शेयर बाजार के निवेशकों की पूंजी में 3.57 लाख करोड़ रुपये की बढ़ोतरी दर्ज की गई है। सेंसेक्स मंगलवार को 917 अंक की जोरदार छलांग के साथ 40,700 अंक से ऊपर पहुंच गया।
  • शेयर बाजार के निवेशकों की पूंजी में 3.57 लाख करोड़ रुपये की बढ़ोतरी
  • सेंसेक्स मंगलवार को 917 अंक की जोरदार छलांग के साथ 40,700 अंक से ऊपर पहुंचा
  • बाजार में सुधार के बीच सेंसेक्स की कंपनियों का एमकैप 1,56,61,769.40 करोड़ रुपये पर
  • कच्चे तेल की कीमतों में भारी गिरावट तथा मजबूत वैश्विक संकेतों से शेयर बाजार में उछाल

सेंसेक्स में सुधार के बीच पिछले दो कारोबारी सत्रों में सेंसेक्स की सूचीबद्ध कंपनियों का बाजार पूंजीकरण 3,57,044.43 करोड़ रुपये बढ़कर 1,56,61,769.40 करोड़ रुपये पर पहुंच गया। बजट के दिन सेंसेक्स में 987.96 अंक या 2.43 प्रतिशत की गिरावट आई थी और यह 40,000 अंक से नीचे फिसलकर 39,735.53 अंक पर बंद हुआ था।

 

खौफ को दिया झटका
चीन में करॉना वायरस के खौफ के कारण कच्चे तेल की कीमतों में भारी गिरावट तथा मजबूत वैश्विक संकेतों से शेयर बाजार ने बजट के दिन हुए नुकसान की भरपाई एक ही दिन में कर डाली। बीएसई का संवेदी सूचकांक सेंसेक्स 917.07 अंक (2.30%) उछलकर 40,789.38 पर बंद हुआ। वहीं, एनएसई (NSE) का निफ्टी 271.75 अंकों (2.32%) की तेजी के साथ 11,979.65 पर बंद हुआ। बजट के दिन निवेशकों को 3.46 लाख करोड़ रुपये का नुकसान हुआ था।

कारणों की पड़ताल
आइए जानते हैं कि बजट के दिन हतोत्साहित बाजार में ऐसा क्या हुआ कि दो दिन बाद ही इसमें रौनक लौट गई। बजट के दिन निवेशकों को उम्मीद थी कि कंपनियों के लिए काफी राहत वाली घोषणाएं की जाएंगी, लेकिन ऐसा नहीं हुआ था। पूरा बजट मध्य वर्ग पर केंद्रित रहा था। इसलिए उम्मीदों के अनुरूप बजट नहीं होने के कारण शनिवार को बाजार में बिकवाली का जोर रहा। लेकिन मंगलवार को इसका ठीक उलटा हुआ और सेंसेक्स 900 अंक तक चढ़ गया। इससे पहले सोमवार को भी बाजार हरे निशान पर बंद हुआ था।

1. आर्थिक आंकड़ों, कंपनियों की कमाई पर ध्यान
निवेशकों का ध्यान अब आर्थिक आंकड़ों और कंपनियों की कमाई की तरफ शिफ्ट हुआ है। इसके अलावा, आरबीआई की मौद्रिक नीति समिति की बैठक का इंतजार है। कच्चे तेल की कीमतों में गिरावट और रुपये की मजबूती ने भी बाजार को बल दिया है। हालांकि चीन में करॉना वायस का खौफ बरकरार है और आगे चलकर बाजार में अस्थिरता देखी जा सकती है। बीते कुछ दिनों में अर्थव्यवस्था के आंकड़ों के साथ-साथ कंपनियों की कमाई में सुधार हुआ है, जो इस बात का संकेत दे रहे हैं कि देश की इकॉनमी धीरे-धीरे सुस्ती से उबर रही है।

2. कच्चे तेल की कीमतों में भारी गिरावट
करॉना वायरस के खौफ के कारण चीन द्वारा मांग में गिरावट आने से सोमवार को कच्चा तेल वायदा की कीमतों में भारी गिरावट दर्ज की गई। मांग में इस गिरावट की वजह से ओपेक तथा उसके सहयोगियों को आपूर्ति में कटौती करनी पड़ी है। ब्रेंट क्रूड की कीमत 3.8 फीसदी की गिरावट के साथ प्रति बैरल 54.45 डॉलर पर पहुंच गई, जो पिछले साल जनवरी के बाद इसका सबसे निचला स्तर है। हालांकि, मंगलवार को कीमतों में थोड़ा सुधार हुआ।

3. डॉलर के मुकाबले रुपये में तेजी
मंगलवार को शुरुआती कारोबार में डॉलर के मुकाबले रुपया 16 पैसे मजबूत हुआ, जिसका शेयर बाजार पर सकारात्मक असर पड़ा। मजबूत रुपये से वस्तुओं का आयात सस्ता होगा।


4. मार्च से पहले लाभांश वितरण?

बजट 2020 में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने डिविडेंड डिस्ट्रिब्यूशन टैक्स (DDT) खत्म करने का प्रस्ताव किया है और अब टैक्स लाभांश पाने वाले को चुकाना पड़ेगा। शेयरधारकों को उम्मीद है कि अब कंपनियां लाभांश का भुगतान इस वित्त वर्ष के समाप्त होने से पहले करेंगी।

5. वैश्विक बाजारों में मजबूती
करॉना वायरस के खौफ के बावजूद वैश्विक बाजारों में मजबूती का घरेलू शेयर बाजार पर सकारात्मक असर पड़ा।

6. कम कीमतों पर शेयरों की खरीदारी
बजट के दिन शेयर बाजार में भारी गिरावट दर्ज की गई थी, जिसके कारण शेयरों की कीमतें काफी नीचे आ गई थीं। मंगलवार को निवेशकों के पास कम कीमत में बड़ी कंपनियों के शेयरों खरीदने का बढ़िया मौका था, जिसे वह हाथ से जाने नहीं देना चाहते थे। इसका निवेशकों ने जमकर फायदा उठाया है, पूरे दिन भरपूर लिवाली की।

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Nirbhaya case victim

निर्भया केस: केंद्र सरकार की याचिका खारिज, कोर्ट ने कहा- दोषियों को अलग-अलग नहीं हो सकती फांसी

दिल्ली हाईकोर्ट चार दोषियों की फांसी पर रोक को चुनौती देने वाली केंद्र की याचिका को खारिज कर दिया है। कोर्ट ने कहा है कि चारों दोषियों को अलग अलग फांसी नहीं दी जा सकती। उच्च न्यायालय ने सरकार को आड़े हाथ लेते हुए कहा कि जब 2017 में ही सर्वोच्च न्यायालय ने निर्भया के गुनहगारों की अपील खारिज कर दी थी तो कोई डेथ वारंट जारी करवाने के लिए आगे नहीं आया। बता दें कि न्यायमूर्ति सुरेश कुमार कैत ने शनिवार (1 फरवरी) और रविवार (2 फरवरी) को विशेष सुनवाई के बाद दो फरवरी को अपना आदेश सुरक्षित रख लिया था।

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केंद्र सरकार ने इस मामले में दिल्ली हाईकोर्ट में याचिका दाखिल कर कहा था कि चारों दोषी जुडिशल सिस्टम का गलत फायदा उठा कर फांसी को डालने की कोशिश कर रहे हैं। लिहाजा जिन दोषियों की दया याचिका खारिज हो चुकी है या किसी भी फोरम में उनकी कोई याचिका लंबित नही हैं, उनको फांसी पर लटकाया जाए। किसी एक दोषी की याचिका लंबित होने पर बाकी 3 दोषियों को फांसी से राहत नही दी जा सकती।

इससे पहले निर्भया के माता-पिता ने दिल्ली उच्च न्यायालय से केंद्र की उस याचिका पर जल्द निर्णय का अनुरोध किया, जिसमें दोषियों की फांसी पर रोक को चुनौती दी गई है। निर्भया के माता-पिता की ओर से पेश वकील जितेंद्र झा ने बताया कि उन्होंने सरकार की याचिका के जल्द निपटारे के लिए अदालत से अनुरोध किया है। न्यायमूर्ति सुरेश कुमार कैत ने कहा कि जल्द से जल्द इस पर फैसला आएगा।

अदालत ने 31 जनवरी को फांसी की सजा स्थगित कर दी क्योंकि दोषियों के वकील ने अदालत से फांसी पर अमल को ”अनिश्चित काल” के लिए स्थगित करने की अपील की और कहा कि उनके कानूनी उपचार के मार्ग अभी बंद नहीं हुए हैं। मुकेश और विनय की दया याचिका राष्ट्रपति के पास खारिज हो चुकी है, जबकि पवन ने यह याचिका अभी नहीं दाखिल की है। अक्षय की दया याचिका एक फरवरी को दाखिल हुई और अभी यह लंबित है। शीर्ष न्यायालय ने 2017 के अपने फैसले में दिल्ली उच्च न्यायालय और निचली अदालत द्वारा दोषियों को सुनाई गई फांसी की सजा को बरकरार रखा था।

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